Uttarakhand
अब जल्द ही पिथौरागढ़ के लिए शुरू हो सकेंगी हवाई सेवाएं
- डीजीसीए ने नैनीसैनी हवाईअड्डे को दिया लाइसेंस
- आवागमन की सुविधा के साथ ही पर्यटन का होगा विकास : प्रकाश पंत
देवभूमि मीडिया ब्यूरो
देहरादून। पिथौरागढ़ स्थित नैनी-सैनी एयरपोर्ट को डी.जी.सी.ए. (डायरैक्टर जनरल ऑफ़ सिविल एवियेशन) द्वारा एयरोड्रम लाइसेंस मिलने के बाद अब जल्द ही देहरादून, पंतनगर और दिल्ली से पिथौरागढ़ के लिए हवाई सेवाएं शुरू हो सकेंगी। प्रदेश के वित्त मंत्री श्री प्रकाश पन्त ने बताया कि राज्य सरकार पिछले महीने से ही पिथौरागढ़ के लिए हवाई सेवा शुरू करना चाहती थी लेकिन कई तकनीकी कमियों के कारण यह संभव नहीं हो पा रहा था अब डी.जी.सी.ए. द्वारा एयरपोर्ट को लाइसेंस मिलने के बाद जल्द ही हवाई सेवाएं शुरू हो सकेगी।
गौरतलब हो कि भारत-चीन सीमा पर स्थित सीमान्त एवं सुदूरवर्ती जनपद पिथौरागढ़ में विगत काफी समय पूर्व हवाई पट्टी का निर्माण कार्य पूर्ण हो चुका था, परन्तु पर्याप्त अवस्थापना सुविधा न होने के कारण हवाई सेवा प्रारम्भ नहीं हो पा रही थी। राज्य में भाजपा सरकार बनने के बाद, निरंतर इस हवाई पट्टी को प्रारम्भ करने हेतु प्रयासरत रहने तथा अन्य महत्वपूर्ण परियोजनाओं के साथ इसे भी एक ड्रीम प्रोजैक्ट के रूप में देखने वाले उत्तराखण्ड के वित्त मंत्री प्रकाश पन्त द्वारा इस हवाई पट्टी में पर्याप्त अवस्थापना सुविधायें जुटाने तथा रन-वे का चौड़ीकरण कराने का कार्य सम्पन्न कराया गया तथा प्रधानमंत्री द्वारा प्रारम्भ की गई ‘‘उड़ान’’ योजना में इसे सम्मिलित कराने में सफलता प्राप्त की गयी । विगत माह नवम्बर में इस हवाई पट्टी से ट्रायल लैंडिंग की सफलतापूर्वक सम्पन्न करायी गयी तथा डी.जी.सी.ए. के अन्तिम एप्रूवल के कारण नियमित उड़ान प्रारम्भ नहीं हो पायी थी।
बीते हफ्ते जी.एस.टी. बैठक में प्रतिभाग करने हेतु दिल्ली प्रवास के दौरान वित्त मंत्री प्रकाश पन्त द्वारा विभिन्न केन्द्रीय मंत्रियों से भेंट और वार्ता के दौरान सक्षम मंचों पर इस विषय पर भी चर्चा की गई थी, जिसका परिणाम है कि डी.जी. सी.ए. द्वारा नियमित उड़ानों हेतु प्रतीक्षारत इस हवाई पट्टी से हवाई जहाजों के उड़ान भरने की अन्ततः अनुमति प्रदान की जा चुकी है। प्रकाश पन्त ने बताया कि अब नैनी-सैनी हवाई पट्टी, पिथौरागढ़ से वायुयानों के संचालन में किसी प्रकार की बाधा नहीं रह गई है, शीघ्र ही हवाई सेवा प्रारम्भ हो जायेगी। उन्होंने हर्ष व्यक्त करते हुये अवगत कराया कि सुदूरवर्ती क्षेत्र की जनता को इसका समुचित लाभ मिलेगा तथा हवाई सेवा के संचालन से आवागमन की सुविधा के साथ-साथ पर्यटन का भी विकास होगा, जो सीमान्त जनपद के लिये वरदान साबित होगा।