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गाड़ियों पर यदि लिखी अपनी जाति तो होगी बड़ी कार्रवाही

वाहनों में जाति लिखना सामाजिक ताने-बाने के लिए अच्छा नहीं

उत्तर प्रदेश में जाति लिखे वाहनों के खिलाफ अभियान चलाया जाएगा और उन्हें जब्त तक करने के हुए आदेश 

देवभूमि मीडिया ब्यूरो 

देहरादून : प्रधानमंत्री मोदी को महाराष्ट्र के शिक्षक हर्षल प्रभु ने प्रधानमंत्री कार्यालय को एक शिकायती पत्र भेजकर मांग की थी कि वाहनों में जाति लिखना सामाजिक ताने-बाने के लिए अच्छा नहीं है। उनके इस पत्र पर प्रधानमंत्री कार्यालय ने उत्तरप्रदेश सरकार को इस शिकायत पर कार्रवाही करने को कहा जिसके बाद उत्तरप्रदेश के अपर परिवहन आयुक्त ने आदेश दिया कि अब उत्तर प्रदेश में जाति लिखे वाहनों के खिलाफ अभियान चलाया जाएगा और उन्हें जब्त तक करने के उन्होंने आदेश दिए हैं। 

उत्तर प्रदेश की तर्ज पर उत्तराखंड में भी इस तरह के वाहन धड़ल्ले से चल रहे हैं। उत्तरप्रदेश में अब ऐसे वाहनों जिन पर पर जाति सूचक शब्द होने पर धारा 177 में चालान या सीज करने की कार्रवाई होगी। इसके लिए बकायदा परिवहन विभाग से सर्कुलर जारी कर दिया है। 

हालांकि अभी ये आदेश उत्तर प्रदेश के परिवहन विभाग द्वारा ही जारी किया गया है जहां कार-बाइक, बस-ट्रक ही नहीं ट्रैक्टर और ई-रिक्शा तक पर ‘ब्राह्मण’, ‘क्षत्रिय’, ‘जाट’, ‘यादव’, ‘मुगल’, ‘कुरेशी’ लिखा हुआ दिख जाता है। उम्मीद की जा रही है कि उत्तर प्रदेश से सबक लेकर देश के अन्य प्रान्त भी इस आदेश को जारी करेंगे।

गौरतलब हो कि मुंबई के उपनगर कल्याण के रहने वाले शिक्षक हर्षल प्रभु ने प्रधानमंत्री का ध्यान वाहनों में जाति लिखे होने की तरफ दिलाया। उन्होंने प्रधानमंत्री को भेजे अपने पत्र में कहा कि उत्तर प्रदेश सहित देश के कुछ अन्य राज्यों में भी वाहनों पर जाति लिखकर कुछ लोग गर्व महसूस करते हैं। जबकि इससे सामाजिक ताने-बाने को नुकसान पहुंचता है और यह कानून के खिलाफ है। जबकि भारत वैसे भी जाति आधारित अपराधों के प्रति संवेदनशील है। 

पत्र पर उत्तर प्रदेश के अपर परिवहन आयुक्त मुकेश चंद्र ने प्रदेश के सभी संभागीय परिवहन अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि ऐसे वाहनों के खिलाफ तुरंत अभियान चलायें और  ‘जाति’ चाहे वाहन पर लिखी हो या नंबर प्लेट पर, ऐसे वाहनों को तुरंत सीज करें।

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