CRIME

पांच लाख की रिश्वत लेते रंगे हाथ सरकारी वकील हुआ गिरफ्तार

विजिलेंस टीम से छुड़ाया वकीलों ने  सरकारी वकील 

देहरादून : एडीजीसी क्रिमिनल अशोक उभान को पांच लाख की रिश्वत लेते कचहरी में उनके चैम्बर से गिरफ्तार किया गया। लेकिन थोड़ी देर में वहां आई वकीलों की भीड़ ने उन्हें छुड़ा लिया,  उत्तराखंड की सबसे बड़े कोर्ट में सरकारी वकील को ट्रैप करने पहुंची विजिलेंस टीम को वकीलों के भारी विरोध के बाद बिना कार्रवाई के वापस जाना पड़ा। बाद में वकीलों ने हंगामा करते हुए विजिलेंस के खिलाफ नारेबाजी की।

पुलिस से मिली जानकारी के मुताबिक एक सरकारी वकील किसी मुकदमे में सजा कम करने के एवज में करीब पांच लाख की रिश्वत ले रहे थे। इसकी जानकारी विजिलेंस को लगी तो ट्रैप टीम वकील के चैम्बर पर आ धमकी। जहां ट्रैप की कार्रवाई की भनक लगने पर वकील ने विरोध शुरु कर दिया। इसी दौरान कुछ वकीलों को इसकी जानकारी लगी तो वह विजिलेंस की कार्रवाई का विरोध करने लगे। काफी हंगामे के बाद वकील आरोपी को विजिलेंस से छुड़वा ले गए।

एडीजी अशोक कुमार ने एसएसपी ऑफिस में पत्रकारों से बातचीत में बताया कि एडीजीसी क्रिमिनल अशोक उभान को पांच लाख की रिश्वत लेते कचहरी में उनके चैम्बर से गिरफ्तार किया गया। लेकिन थोड़ी देर में वहां आई भीड़ ने उन्हें छुड़ा लिया, जिसमे कई वकील शामिल थे।

एडीजी ने कहा कि ट्रैप के दौरान 5 लाख रूपये की नई करेंसी बरामद हुई है। मामले में सरकारी वकील पर रिश्वत लेने का मुकदमा दर्ज किया गया है, जबकि उसे छुड़ाने के मामले में अज्ञात लोगों पर भी सरकारी कार्य में बाधा व आरोपी को छुड़ाने के मामले में मुकदमा दर्ज कराया जा रहा है।

एडीजी ने बताया कि प्रेमनगर के वेद प्रकाश गुप्ता ने 1 दिसम्बर को उन्हें सूचना दी की धोखाधड़ी के एक मामले में उसे निचली अदालत में तीन साल की सजा हुई है, जिसमे ऊपरी अदालत में अपील की गई है। मामले में अशोक उभान विपक्षी पार्टी के वकील है। अशोक ने सजा खत्म कराने के लिए कमजोर पैरवी करने के लिए सात लाख रूपये की मांग की थी। मंगलवार को वह उनके चैम्बर में रूपये दे रहा था, जहां अशोक उभान को रुपये गिनते रंगे हाथ पकड़ा गया।

 

devbhoomimedia

डिस्क्लेमर (अस्वीकरण) : देवभूमि मीडिया.कॉम हर पक्ष के विचारों और नज़रिए को अपने यहां समाहित करने के लिए प्रतिबद्ध है। यह जरूरी नहीं है कि हम यहां प्रकाशित सभी विचारों से सहमत हों। लेकिन हम सबकी अभिव्यक्ति की आज़ादी के अधिकार का समर्थन करते हैं। ऐसे स्वतंत्र लेखक,ब्लॉगर और स्तंभकार जो देवभूमि मीडिया.कॉम के कर्मचारी नहीं हैं, उनके लेख, सूचनाएं या उनके द्वारा व्यक्त किया गया विचार उनका निजी है, यह देवभूमि मीडिया.कॉम का नज़रिया नहीं है और नहीं कहा जा सकता है। ऐसी किसी चीज की जवाबदेही या उत्तरदायित्व देवभूमि मीडिया.कॉम का नहीं होगा। धन्यवाद !

Related Articles

Back to top button
Translate »