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राज्यपाल की शपथ लेने से पहले भगत दा ने छोड़ी भाजपा की प्राथमिक सदस्यता

भगत दा ने हमेशा किये हैं राजनीती के ऊँचे मानदंड स्थापित

 प्रदेश अध्यक्ष अजय भट्ट को सौंप अपना इस्तीफा

देवभूमि मीडिया ब्यूरो 

देहरादून : भारतीय जनता पार्टी को उत्तराखंड में स्थापित करने वाले कुछ चंद लोगों में शुमार भगत सिंह कोश्यारी जिन्हे उत्तराखंडवासी प्यार से भगत दा के नाम से पुकारते हैं ने अन्य दलों के नेताओं से अलग हटकर राजनीती के ऊँचे मानदंड स्थापित करते हुए महाराष्ट्र के नए राज्यपाल की शपथ लेने से पूर्व भाजपा की प्राथमिक सदस्यता के इस्तीफा दे दिया। उन्होंने अपना इस्तीफा प्रदेश अध्यक्ष अजय भट्ट को सौंपा है। भगत दा ने कहा वे राज्यपाल की शपथ लेने के लिए जल्द महाराष्ट्र रवाना होंगे।

महाराष्ट्र के राज्यपाल पद पर मनोनयन की खबर उन्हें बीते दिन हल्द्वानी प्रवास के दौरान मिली थी इसके बाद वे बीती सायं हल्द्वानी से चलकर देहरादून पहुंचे। देहरादून पहुँचने पर प्रदेश के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत सहित भाजपा के कई पदाधिकारियों ने उनको उनके डिफेन्स कॉलोनी स्थित आवास पर बधाइयाँ और शुभकामनायें दीं। ”देवभूमि मीडिया” से इस दौरान मुलाकात में श्री कोश्यारी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद का आभार किया।

उन्होंने कहा कि देश के आर्थिक रूप से सशक्त राज्यों में महाराष्ट्र नंबर एक स्थान पर है। मेरी कोशिश रहेगी कि महाराष्ट्र की आर्थिक मजबूती का फायदा उत्तराखंड के लिए कर सकूं। उन्होंने कहा प्रदेश के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत उत्तराखंड में बड़े निवेशकों को लाने के लिए प्रयासरत हैं और उनका भी प्रयास रहेगा कि वे वहां के बड़े निवेशकों को उत्तराखंड लाने की कोशिश करेंगे।

श्री कोश्यारी ने कहा कि वे शिखर से सागर की ओर जा रहे हैं। महाराष्ट्र हर दृष्टि से समृद्ध प्रदेश है। वहां की संस्कृति और साहित्य को समझने और पढ़ने का अवसर मिलेगा। मेरा यह सर्वोच्च प्रयास होगा कि महाराष्ट्र की आर्थिक उन्नति का लाभ उत्तराखंड को मिले।

उन्होंने कहा महाराष्ट्र के अधिकाँश श्रद्धालु केदारनाथ और बदरीनाथ धाम आते हैं, वे भली भांति उत्तराखंड को समझते हैं। उन्होंने कहा उनके वहां जाने के बाद उनकी कोशिश होगी कि दोनों राज्यों के संबंध और मजबूत हों, जिससे उत्तराखंड को आर्थिक रूप से मजबूती मिल सके।  

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