भव्य पासिंग आउट परेड के बाद 401 नौजवान बने भारतीय सेना का हिस्सा
सचिन लगातार चौथी पीढ़ी से हैं जो भारतीय सेना में हुए शामिल
प्रत्यूष को मिला स्वॉर्ड ऑफ आनर
देहरादून : भारत माता तेरी कसम तेरे रक्षक बनेंगे हम, आइएमए गीत पर कदमताल करते जेंटलमैन कैडेट ड्रिल स्क्वायर पर पहुंचे तो लगा कि विशाल सागर उमड़ आया है। एक साथ उठते कदम और गर्व से तने सीने दर्शक दीर्घा में बैठे हरेक शख्स के भीतर ऊर्जा का संचार कर रहे थे। शनिवार को भारतीय सैन्य अकादमी (आइएमए) में अंतिम पग भरते ही 401 नौजवान भारतीय सेना का हिस्सा बन गए। इसके साथ ही 53 विदेशी कैडेट भी पास आउट हुए।
उप सेना प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल एनपीएस हीरा ने परेड की सलामी ली। सुबह 8 बजकर 57 मिनट पर मार्कर्स कॉल के साथ परेड का आगाज हुआ। कंपनी सार्जेंट मेजर ललित उपमन्यु,मोहित सैनी, विकास, अभिषेक भारद्वाज, अभिजीत, अनिल गंगोला,प्रसून कुमार व यान राज ने ड्रिल स्क्वायर पर अपनी-अपनी जगह ली। एडवांस कॉल के साथ ही छाती ताने देश के भावी कर्णधार असीम हिम्मत और हौसले के साथ कदम बढ़ाते मल्ला राम गोपाल नायडू की अगुवाई में परेड के लिए पहुंचे। इसके बाद परेड कमांडर प्रत्यूष मोहंती ने ड्रिल स्क्वायर पर जगह ली।
कैडेट्स ने शानदार मार्चपास्ट से दर्शक दीर्घा में बैठे हर शख्स को मंत्रमुग्ध कर दिया। इधर युवा सैन्य अधिकारी अंतिम पग भर रहे थे तो आसमान से हेलीकाप्टरों के जरिये उन पर पुष्प वर्षा हो रही थी। लेफ्टिनेंट जनरल हीरा ने परेड की सलामी लेने के बाद ने कहा कि नव सैन्य अधिकारी परम्परागत और गैर परम्परागत चुनौतियों के लिए तैयार रहें।
उन्होंने कैडेट्स को ओवरऑल बेस्ट परफॉर्मेंस व अन्य उत्कृष्ट सम्मान से नवाजा। प्रत्यूश कुमार मोहंती को स्वार्ड ऑफ ऑनर प्रदान की गई। मल्ला राम गोपाल नायडू को स्वर्ण और सूयश गुप्ता को रजत पदक मिला। प्रत्यूष कुमार मोहंती को कांस्य पदक प्रदान किया गया, जबकि दीपक सिंह ने सिल्वर मेडल (टीजी-यूईएस) हासिल किया। जार्ज प्रिंस कार्की सर्वश्रेष्ठ विदेशी कैडेट चुने गए। चीफ आफ आर्मी स्टाफ बैनर अलामिन कंपनी को मिला। इस दौरान कमांडेंट लेफ्टिनेंट जनरल एसके सैनी डिप्टी कमान्डेंट मेजर जनरल मंदीप सिंह आदि मौजूद रहे।
पासिंग आउट परेड में उत्तराखंड के सचिन नौडियाल ग्राम कबरा , रीठाखाल पौड़ी गढ़वाल के पिता – महेंद्र प्रकाश आर बी एन एस शुगर मिल- लक्सर (उत्तराखंड )में सीनियर मैनेजर के पद पर हैं । आठवीं तक शिक्षा लक्सर में और उसके बाद हाई स्कूल और बारवीं आर्मी पब्लिक स्कूल दिल्ली में हुई दादाजी (अनसूया प्रसाद ) भी सेना से रिटायर्ड है दादाजी से प्रेरणा मिलने पर सेना में जाने का फैसला लिया। कबरा के नौडियाल परिवार की लगातार चौथी पीढ़ी है जो सेना में गई नौडियाल परिवार से अभी तक 12 लोग सेना में जाकर देश की सीमाओं में अपनी सेवा दे चुके है या दे रहे है। गांव में शिक्षित न होने के बाबजूद सचिन को गढ़वाली में बोलना पसंद है ।