सर्वे रिर्पोटों के आधार पर होगा नैनीताल शहर व झील का संरक्षण

- मंडलायुक्त चंद्रशेखर भट्ट ने ली अधिकारियों की बैठक
नैनीताल । एलडीए सभागार में हिल साईड सेफ्टी कमेटी की बैठक लेते हुये आयुक्त कुमाऊ मण्डल चन्द्र शेखर भट्ट ने कहा कि वैज्ञानिकों व गणमान्य के सुझावों व विभिन्न संस्थाओं द्वारा पूर्व में किये गये सर्वे रिर्पोटों के आधार पर ही नैनीताल शहर व झील संरक्षण कार्यो को संपादित किया जायेगा। उन्होंने नैनीझील के गिरते जल स्तर पर चिंता व्यक्त करते हुये झील कैचमेंट एरिया के नालों का संरक्षण एवं सफाई कार्य नियमित रूप से कराने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि झील संरक्षण कार्यो का तीसरी पार्टी द्वारा सत्यापन भी करा लिया गया है। बलिया नाले में झील से हो रहे रिसाव पर विस्तृत चर्चा करते हुये अधिशासी अभियंता सिंचाई को बलिया नाले जल रिसाव क्षेत्र का आइसोटॉपिक सर्वे शीघ्र कराने के निर्देश दिये।
मण्डलायुक्त ने कहा कि शहर में अवैध निर्माण पर पूर्ण रोक लगाई जाय इस हेतु कमेटी गठित कर नियमित चैकिंग कर हो रहे अवैध निर्माण को तुरंत ध्वस्त करने की कार्यवाही की जाय। उन्होंने झील विकास प्राधिकरण, लोक निर्माण व अधिशासी अधिकारी नगरपालिका को निर्देश देते हुये कहा कि नाले नैनीझील की धमनियां हैं इसलिये नालों में कूड़ा अथवा निर्माण सामग्री डालने वाले के चालान किये जायें। साथ ही उन्होंने नालों से पेयजल लाइनें हटाने के निर्देश जल संस्थान के अभियंता को दिये।
उन्होंने नैनीताल जल संस्थान के अभियंता को पानी की रोस्टिंग कर शहर में जलापूर्ति करने के साथ ही सभी पेयजल संयोजनों में आगामी दिसम्बर माह तक मीटर भी लगाने के निर्देश दिये। आयुक्त ने कहा कि हिल साईड सेफ्टी कमेटी गठन का मुख्य उद्देश्य नैनी झील के साथ ही नैनीताल की पहाड़ियों की सुरक्षा, नालों का संरक्षण एवं मलुवा निस्तारण, अवैध निर्माण पर रोक, व झील के कैचमेंट एरिया को सुरक्षित करना है। उन्होंने सचिव झील विकास प्राधिकरण को निर्देश देते हुये कहा कि शहर में कतई भी अवैध निर्माण नहीं दिखाई देना चाहिये तथा लैण्डयूज चैंज भी नहीं होना चाहिये। उन्होंने झील, नालों की सुरक्षा एवं कूड़ा प्रबंधन हेतु शहरी की जनता को जागरूक करने के लिये पम्पलेट, पोस्टर आदि से अधिक से अधिक प्रचार प्रसार करने के निर्देश भी अधिकारियों को दिये।
जिलाधिकारी दीपेन्द्र कुमार चौधरी ने कहा कि नैनीताल झील और उसकी पहाड़ियों का विभिन्न संस्थाओं द्वारा अभी तक जो भी स्टेडी सर्वे किया गया है उन्हें संकलित कर अध्ययन किया जाय तभी इन विषयों पर चर्चा कर सर्वसम्मति से वैज्ञानिक तरीके से एक निष्कर्ष तक पहुॅचा जा सकता है। उन्होंने कहा कि झील संरक्षण कार्यो में गुणवत्ता पर पूर्ण ध्यान दिया जाय और कार्य धरातल पर दिखाई दें। उन्होंने कहा कि नैनीताल शहर में जोन वन जोन टू में निर्माण पूर्णतः प्रतिबंधित है हाईपावर कमेटी के माध्यम से 74 जोन वन जोन टू की अवैध निर्माण की फाइलें शासन के जांच हेतु भेजी गयी हैं।
प्रो0 अजय रावत ने कहा कि शहर में अवैध निर्माण के कारण जो नाले लुप्त हो गये हैं उन्हे पुर्नजीवित किया जाय। व निर्माण पर पूर्ण रोक लगाया जाय तथा आवासीय घर हल्की सामाग्री से बनाये जायें। प्रो0 जीएल साह ने नालों में पानी की रफ्तार को कम करने के लिये नालों का स्लोप कम किये जाने व पूर्व की तरह कैचपिट बनाने का सुझाव दिया।
राजीव लोचन साह द्वारा झील व नालों में कूड़ा डालने पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने का सुझाव दिया गया साथ ही गंगा प्रसाद साह द्वारा झील की सुरक्षा एवं संरक्षण हेतु स्थानीय जनता का सहयोग लेने के साथ ही लेकवाडन की तैनाती करने को कहा। किसन पांडे ने नैनीताल शहर से बाहर जा रहे नालो के पानी को झील में लाने का सुझाव दिया।
डीएन भट्ट ने एडीबी द्वारा शहर में बिछाई गयी पेयजल की लाइनें नालों से हटवाने का सुझाव दिया। बैठक में नैनीताल में ट्रैफिक पार्किंग की व्यवस्था, कूड़ा निस्तारण, नये पर्यटक स्थलों को विकसित करने जैसे सुझाव भी रखे गये।
बैठक में भू वैज्ञानिक सर्वेक्षण देहरादून भूपेन्द्र सिंह, दिनेश लाल साह, पूर्व प्रो0 आईआईटी रूड़की पीके पांडे, सुदर्शन लाल साह, एम सामंता वैज्ञानिक सीआरबीआई रूड़की, सचिव झील विकास प्राधिकरण श्रीष कुमार, एससी लोक निर्माण डीएस नबियाल, अधिशासी अभियंता सीएस नेगी, प्रो0 पीसी पंत, प्रो0 जीएल साह, वैज्ञानिक सेवाव्रत दास, प्रभागीय वनाधिकारी डीएस मीणा, उप निदेशक जेसी बेरी सहित अनेक गणमान्य उपस्थित थे।