नंदा देवी मेले की तैयारियों को लेकर अल्मोड़ावासियों में उत्साह

धार की तूनी से लाए जाएंगे नंदादेवी मूर्ति निर्माण के लिए कदली वृक्ष
अल्मोड़ा : अपनी सांस्कृतिक विरासत को संजोये रखने और कला को बचाये रखने सहित पारम्परिक मेलों को लेकर उत्तराखंड ही नहीं बल्कि पूरे देश में अल्मोड़ा की अपनी पहचान है, त्योहारी सीजन आने के साथ ही अल्मोड़ा में इनकी तैयारियों को लेकर निवासियों में जोश और उमंग देखने लायक होता है। इस बार भी नंदा देवी मेले की तैयारियों और मेले में होने वाले कार्यक्रमों के संबंध में मेला समिति की हुई बैठक में विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रमों को लेकर चर्चा की गई। बैठक में बताया गया कि नंदा देवी की मूर्ति निर्माण के लिए लाए जाने वाले कदली वृक्षों को धार की तूनी से लाया जाएगा।
बैठक में तय किया गया कि मेले के दौरान होने वाली झोड़ा प्रतियोगिता में 9 महिला दल एवं सांस्कृतिक जुलूस में 12 महिला दल प्रतिभाग करेंगें। प्रतिभागी टीम को विभिन्न विषयों पर आधारित कार्यक्रम प्रस्तुत करने होंगे। इसमें समिति की ओर से जन्माष्टमी, हरेला पर्व, कुमाऊंनी बारात, देवीधुरा बग्वाल, भिटौली, नंदा देवी मेला, कुमाऊंनी जागर, घुघुती त्यार, होली पर्व, हुड़की बौल एवं अल्मोड़ा की रामलीला बिंदुओं पर 12 दलों की विषय दिए गए हैं।
बैठक में बताया गया कि इस वर्ष कदली वृक्षों को 27 अगस्त को धार की तूनी से प्रकाश चंद करगेती की भूमि से लाया जाएगा। बैठक की अध्यक्षता मनोज वर्मा एवं संचालन मनोज सनवाल व तारा चंद्र जोशी ने संयुक्त रूप से किया।
बैठक में धन सिंह मेहता, हरीश बिष्ट, नरेंद्र वर्मा, हरीश कनवाल, रीता दुर्गापाल, मीना भैसोड़ा, गीता मेहरा, पुष्पा सती, लता तिवारी, निर्मला जोशी, राधिका जोशी, राधा तिवारी, इंद्र प्रभा जोशी, गंगा जोशी, रेखा पांडे, अनीता रावत, शांति साह, लीला जोशी, राधा बिष्ट, मीना देवी, विमला तिवारी, माया देवी, मीना देवी, भगवती बिश्ट, दीपा जोशी, लक्की वर्मा, प्रेमा मेर, विमला बोरा, आनंदी पांडे, पारू उप्रेती, प्रेमा किरमोलिया, मंजू कांडपाल मौजूद रहे।