रेरा एक्ट में पांच का रजिस्ट्रेशन, 162 बिल्डर्स और डीलर्स पर लगी आपत्तियां
बिना रजिस्ट्रेशन के ग्राहकों को आकर्षित करने के लिए प्रचार- प्रचार कर रहे बिल्डर्स
देहरादून । सरकार ने रियल एस्टेट के कारोबारियों को भले ही रजिस्ट्रेशन के संबंध में पेनाल्टी से राहत देने का पिछले दिनों फैसला लिया है। लेकिन अब तक रेरा (रियल एस्टेट रेग्युलेटरी अथॉरिटी) के तहत अधिकृत तौर पर केवल पांच बिल्डर्स का ही रजिस्ट्रेशन हो पाया है। हालांकि रेरा के तहत 158 आवेदन रेरा सचिवालय पहुंचे थे, इनमें से 162 आवेदनों पर आपत्तियां भेजी गई हैं। इन्हें अपना जवाब देना बाकी है। इधर, जिनका रजिस्ट्रेशन पूरा हो चुका है, अब वे ही अपने प्रोजेक्ट्स के लिए प्रचार- प्रसार करने को अधिकृत होते हैं।
गौरतलब हो कि रेरा एक्ट के तहत अब हर ग्रुप हाउसिंग व प्रॉपर्टी डीलर को अपना रजिस्ट्रेशन करवाना अनिवार्य है। पहले आखिरी तारीख 31 जुलाई तय की गई थी, लेकिन एक बार फिर से सरकार ने रजिस्ट्रेशन के लिए 31 अक्टूबर की छूट दी है। उसके बाद सितंबर से लेकर नवंबर तक एक से लेकर 10 प्रतिशत पेनाल्टी के साथ रजिस्ट्रेशन की बात कही है।
लेकिन रेरा सचिवालय के मुताबिक अब तक रजिस्ट्रेशन के लिए 168 आवेदन आए थे। जिसमें 162 में आपत्तियां पाई गई हैं। इनको अपनी आपत्तियां सही करनी हैं। हालांकि पांच ने अपनी आपत्तियां सही कर दी हैं और अब उनका अधिकृत तौर पर रेरा सचिवालय से रजिस्ट्रेशन दे दिया गया है। बाकियों की आपत्तियों के जवाब का इंतजार बाकी है। रेरा सचिवालय के अनुसार जब तक उनकी आपत्तियां सही नहीं हो पाएंगी, तब तक उनका रजिस्ट्रेशन नहीं माना जाएगा।
बताया गया है कि रजिस्ट्रेशन होने के बाद ही बिल्डर्स व प्रॉपर्टी डीलर्स मीडिया के जरिए अपना प्रचार- प्रसार कर सकते हैं। जिनके रजिस्ट्रेशन पर आपत्तियां लगाई गई हैं, बताया गया है कि उनमें से कई दस्तावेज पूरे नहीं हैं। सचिवालय सहकारी आवास समिति को भी नोटिस रेरा के तहत रजिस्ट्रेशन उत्तराखंड सचिवालय सहकारी आवासीय समिति को भी नोटिस भेजा गया है। इस प्रकार से अब तक कुल नोटिस की संख्या 163से अधिक पहुंच गई है। रेरा सचिवालय के मुताबिक इनमें से अधिकतर ग्रुप हाउसिंग व प्रॉपर्टी डीलर्स हैं, जो बिना रजिस्ट्रेशन के ग्राहकों को आकर्षित करने के लिए प्रचार- प्रचार कर रहे हैं।