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देखिये कैसे टूटा झंडे साहब जी के आरोहण के दौरान ध्वज दंड

13 श्रद्धालु हुए चोटिल

शाम पौने पांच बजे बारिश में दंड को उठाने वाली कैंची के फिसलने से हुआ हादसा

झंडे जी के ध्वज दंड को बदला जाता है हर तीन साल में

लाखों की संख्या में संगतों का जनसैलाब दरबार साहब में मौजूद

देवभूमि मीडिया ब्यूरो 

श्री गुरू राम राय का 374वां जन्मदिवस मनाया गया

श्री गुरू राम राय ने वर्ष 1676 में दून में डेरा डाला था। उनका जन्म 1646 में पंजाब के होशियारपुर जिले के कीरतपुरमें होली के पांचवें दिन हुआ था। इसलिए दरबार साहिब में हर साल होली के पांचवें दिन उनके जन्मदिवस पर झंडा मेला लगाया जाता है। गुरू राम राय ने ही लोक कल्याण के लिए विशाल ध्वज को यहां स्थापित किया था। इस बार उनका 374वां जन्मदिवस धूमधाम से मनाया गया।

देहरादून : ऐतिहासिक दरबार साहिब में शुक्रवार को तब अफरातफरी मच गयी जब झंडे साहब का 105 फीट ऊंचे झंडे जी का आरोहण किया जा रहा था। देश विदेश से पहुंचे श्रद्धालुओं की मौजूदगी में ध्वज दंड के आरोहण के अंतिम समय में बारिश के चलते दंड को सपोर्ट करने वाली लकड़ी की कैंची जब अचानक टूट गई और ध्वजदंड टूट गया । इस हादसे से भगदड़ मच गई।  जिस कारण झंडे जी का बड़ा हिस्सा श्रद्धालुओं के ऊपर जा गिरा। हादसे में 13 श्रद्धालु घायल हो गए। इनमें से सात को श्रीमहंत इंदिरेश अस्पताल में भर्ती कराया गया है। जबकि अन्य को प्राथमिक उपचार के बाद छुट्टी दे दी गई। 

झंडे जी के नीचे दबने से कई श्रद्धालु घायल हो गए। इस दौरान वहां भगदड़ मच गई। भगदड़ का माहौल देख महंत देवेंद्र दास जी महाराज के आह्वाहन पर व्यवस्था संभाली गई। तब जाकर श्रद्धालुओं ने चैन की सांस की मिली जानकारी के मुताबिक शाम को दोबारा प्रयास के बाद आरोहण संपन्न हुआ। 

इससे पहले शुक्रवार सुबह झंडे जी को उतारने का कार्यक्रम शुरू हुआ। दरबार साहिब के महंत देवेंद्र दास जी महाराज की उपस्थिति में श्री झंडे जी को दही, घी, गंगाजल और पंचामृत से स्नान कराया गया। सुबह से ही झंडे जी के दर्शन करने को लाखों की संख्या में संगतों का जनसैलाब दरबार साहब में मौजूद रहा।

एक जानकारी के अनुसार परंपरानुसार हर तीन साल में झंडे जी के ध्वज दंड को बदला जाता है। यह क्षण अद्भुत होता है। इस क्षण के दर्शन करने को संगतों में खासा उत्साह रहता है। नए झंडे जी का ध्वज दंड 105 फीट ऊंचा है, जो अभी तक श्री झंडे जी की सबसे अधिक ऊंचाई थी।

 घायल श्रद्धालुओं में ….
सुरजीत सिंह पुत्र लालचंद  (50) वर्ष निवासी ग्राम रतिया, थाना दमोह, जनपद सोलन (हिमाचल प्रदेश)
अवतार सिंह  पुत्र बलदेव सिंह (50)निवासी बनाड़, मोहाली (पंजाब)
 लाडी पुत्र प्रकाश सिंह (22) निवासी रोपड़ (पंजाब)
गुरचरण सिंह पुत्र जगदीश सिंह (44) निवासी धमाणा, जिला रोपड़ (पंजाब)
जसकरण पुत्र पुरुषोत्तम (24) निवासी नवांशहर (पंजाब)
सचिन पुत्र रघुवीर सिंह  (23) निवासी काशीपुर, खेड़ागंज (उत्तराखंड)
जगमीत सिंह पुत्र हरप्रीत सिंह (14)निवासी 290 गांधीग्राम, देहरादून, उत्तराखंड

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