”क्या पहाड़ के विधायकों ने खाना नहीं देखा” इस टिप्पणी पर हुआ बबाल

गैरसैंण : विधानसभा के भीतर तो इस बार विधायकों में धक्कामुक्की की खबर तो सबने देखी होगी लेकिन विधानसभा सत्र के दौरान खाने की व्यवस्था करने वाले ठेकेदार से जब किचन में गंदगी और कम खाना देने और सफाई का ध्यान न देने की बात कही गई तो जवाब था कि क्या पहाड़ के विधायकों ने खाना नहीं देखा जैसी अभद्र टिपण्णी करने के बाद और विधायकों द्वारा भोजन की व्यवस्था दुरुस्त न होने पर कांग्रेस विधायकों को कांट्रेक्टर के साथ तीखी झड़प हो गई। चर्चा है कि किचन की बदहाली और समय पर भोजन न मिलने से गुस्साए कांग्रेस विधायकों की कैटरिंग कांट्रेक्टर के साथ हाथपाई भी हो गई। हालांकि, कांग्रेस विधायक दल के उपनेता करन माहरा ने कांट्रेक्टर के साथ नोकझोंक की बात को स्वीकार की, लेकिन मारपीट से इंकार कर दिया।
घटना शुक्रवार देर रात की बताई गयी है। चर्चाओं के अनुसार घटना तब हुई जब कैटरिंग स्टॉफ ने कांग्रेस विधायकों को पर्याप्त रोटी नहीं दी। रोटी लाने को कहने पर कैटरिंग स्टॉफ ना नुकुर करने लगा। इतना ही नहीं उसके द्वारा यह भी कहा गया कि जिसे चाहिए वो खुद आकर ले ले। इस पर विधायकों का गुस्सा भड़क उठा और वो किचन में पहुंच गए। विधायक दल के उप नेता करन ने बताया कि वहां किचन की हालत बहुत खराब थी। गंदगी के कारण खाना ऐसा नहीं था जिसे खाया जा सके।
वहीँ उन्होंने बताया कि जब गंदगी और कम खाना देने की बात कही गई तो जवाब था कि क्या पहाड़ के विधायकों ने खाना नहीं देखा। उन्होंने कहा यह बात हमें काफी चुभ गईऔर आगे भी चुभी रहेगी, ऐसी टिप्पणी के बाद तीखी नोंकझोंक हुई जहाँ बाद में काजी निजामुद्दीन के हस्तक्षेप के बाद सभी विधायक वहां से लौट आए। जबकि वहीँ कैटरिंग स्टॉफ के कुछ सदस्यों का अपने बचाव में कहना था कि विधायकों ने एक कांट्रेक्टर के बेटे को घूंसा जड़ दिया था, जिससे उसकी आंख में चोट आई है। हालांकि, इस मामले की अभी कोई शिकायत नहीं की गई है।
वहीँ कुछ सत्ताधारी विधायकों ने भी खाने की आलोचना करते हुए कहा कि इससे बेहतर होता हम लोगों को अपनी व्यवस्था करने को कहा जाता तो कम से कम हमलोगों को खाना तो साफ़ सुथरा मिलता , उन्होंने कहा ऐसे खाने से हमारे भी कई विधायकों को तकलीफ हुई है।