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मुख्यमंत्री ने बैजरों के कांडा -मल्ला सड़क पर बैठाई जांच ,तारकोल से सनी गिट्टियां बिछाकर बनाई थी सड़क !

पीएमजीएसवाई विभाग ने तारकोल से सनी गिट्टियां बिछाकर बनाई थी सड़क 

ग्रामीण युवकों ने ग्रामीण अंचल में बनी इस सड़क के निर्माण कार्यों की खोली पोल

सड़क के कथित डामरीकरण का वीडियो हुआ वायरल 

राजेन्द्र जोशी 

देहरादून : प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के तहत इरिगेशन डिविजन बैजरों द्वारा बनाई गयी कांडा -मल्ला के घटिया निर्माण कार्य के विडियो के वायरल हो जाने बाद मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने सड़क निर्माण पर जांच बैठा दी है, जो जल्दी ही प्रदेश शासन सड़क के घटिया निर्माण पर रिपोर्ट शासन को सौंपेगी। मामले में एक तकनीकी सलाहकार सहित तीन अधीक्षण अभियंताओं को जांच का कार्य सौंपा गया है। बैजरों प्रखंड के अंतर्गत इरिगेशन डिविजन बैजरों द्वारा निर्माणाधीन पौने पांच किलोमीटर शुरू से ही विवादों में रही है ।

गौरतलब हो कि उत्तराखंड में प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना ठेकेदारों और कथित रूप से माननीयों के लिए दुधारू गाय बनकर रह गयी है। प्रदेश के राष्ट्रीय राजमार्ग से प्रादेशिक मार्गों को जोड़ने के बाद ग्रामीण इलाकों को जोड़ने के लिए खासकर यह योजना बनाई गयी थी लेकिन भ्रष्टाचार के चलते जिस सड़क को सबसे ज्यादा मजबूत और टिकाऊ बनाया जाना चाहिए था वही सड़क खुद के निर्माण पर आंसू बहा रही है।

बता दें कि ग्रामीण इलाकों की सड़कों के लिए चार पांच साल में एक बार ही बजट मिल पाता है इस लिहाज़ से भी इन सड़कों को अगले पांच साल तक टिकाऊ होना चाहिए ।वही प्रदेश के ग्रामीण अंचलों में पीएमजीएसवाई द्वारा बनाई जा रही सड़क आज निर्माण कार्यों में हीलाहवाली और भ्रष्टाचार को लेकर आंसू बहा रही है। चर्चा तो यहाँ तक है कि इन सड़कों के लिए आमंत्रित किये जाने वाली टेंडर प्रक्रिया से लेकर सड़क के निर्माण तक यह सड़क ठेकेदारों से लेकर अभियंताओं और कथित माननीयों तक के लिए दुधारू गाय साबित होती रही है अब ऐसे में इन सड़कों का निर्माण कैसे हो रहा होगा यह विडियो देखें जिसे स्थानीय युवकों द्वारा सड़क से ही बनाया गया है।

स्थानीय युवकों द्वारा सड़क निर्माण कार्य को लेकर वायरल किये गए गये विडियो में साफ़ दिखाई दे रहा है कि किस कदर का घटिया निर्माण कार्य इस सड़क के निर्माण में हुआ है और मिट्टी की सतह के ऊपर सीधे तारकोल से सनी गिट्टियां बिछा दी गयी है ताकि यह लगे कि सड़क का डामरीकरण हुआ है। स्थानीय युवक इस वीडियो में सड़क की मोटाई और उसपर किस मात्रा में तारकोल से सनी गिटटयां बिछाई गयी हैं उसको भी साफ़ दिखा रहे हैं। युवकों द्वारा सड़क पर हल्के से पांव से कुरेदने पर मिटटी की सतह साफ़ देखी जा सकती है। 

मिली जानकारी के अनुसार प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के तहत बनायी जा रही यह सड़क सिमीदी से कांडा मल्ला तक की थी और इसकी लम्बाई लगभग पौने पांच किलोमीटर की है। विडियो में साफ़ दिखाई दे रहा है कि यह सडक मुख्यमार्ग से लेकर कांडा मल्ला तक तमाम निर्माण खामियों से भरी पड़ी है । जिसे एम। एन। आर कंस्ट्रक्शन कम्पनी द्वारा बनाया गया है। मिली जानकारी के अनुसार यह सड़क पीएमजीएसवाई इरिगेशन डिविजन बैजरों द्वारा बनाई गयी है।

मामले का मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत के संज्ञान में लाये जाने के बाद प्रमुख सचिव मनीषा पंवार ने पीएमजीएसवाई के तहत बनाई जा रही इस सड़क और इससे जुडती 14 किलोमीटर की अन्य सड़क पर जांच बैठा दी है। जांच की बैठाये जान की पुष्टि पीएमजीएसवाई के प्रमुख अभियंता राजेन्द्र गोयल ने करते हुए बताया कि सड़क की जाच के लिए तीन सदस्यीय कमेटी का गठन किया गया है जिसमें राज्य तकनीकी सलाहकार आर।पी भट्ट। अधीक्षण अभियंता मुख्यालय और एक अन्य अधीक्षण अभियंता रखे गये हैं जो मामले की जांच कर शासन को जल्द से जल्द रिपोर्ट सौपेंगे।

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