RUDRAPRAYAG

भाजपा नेताओं ने ही उठा दिये नमामि गंगे योजना के कार्यों पर सवाल

-घाट निर्माण में गुणवत्ता का नहीं दिया जा रहा ध्यान 

-एक ही बरसात में तबाह हो जायेंगे घाट

-विपक्ष को भी बैठे बिठाये मिल गया मुद्दा

-जिलाधिकारी ने दिलाया जांच का भरोसा

रुद्रप्रयाग । केन्द्र सरकार की महत्वकांक्षी नमामि गंगे योजना पर भाजपा कार्यकर्ता और स्थानीय जनता ने सवाल खड़े कर दिये हैं। योजना के शुरूआती दौर में ही योजना पर ऊंगलियां उठनी शुरू हो गई है। जहां भी नमामि गंगे के कार्य चल रहे हैं, सभी में भारी अनियमितताएं पाई जा रही है। ऐसे में लगता नहीं कि यह योजना सफल हो पायेगी।
जनपद के नगर पालिका रुद्रप्रयाग और नगर पंचायत अगस्त्यमुनि में नमागि गंगे योजना के तहत घाटों का निर्माण किया जा रहा है, जहां अगस्त्यमुनि में घाट का निर्माण कार्य पूरा हो गया है, वहीं रुद्रप्रयाग मुख्यालय में पांच घाटों में से एक भी घाट का निर्माण कार्य पूरा नहीं हो पाया है। ऐसे में भाजपा कार्यकर्ताओं ने ही अपनी ही सरकार और योजना को कटघरे में खड़ा करना शुरू कर दिया है।

भाजपा नेताओं ने केन्द्र की महत्वकांक्षी योजना पर ऊंगलियां उठाई हैं। उनकी माने तो योजना के शुरूआती दौर से लापरवाही बरती जा रही है। घाट निर्माण में गुणवत्ता को कोई भी ध्यान नहीं दिया जा रहा है। कंकरीट, बजरी, पत्थर व सीमेंट का सही से उपयोग नहीं किया जा रहा है और जहां पर घाटों का निर्माण किया जा रहा है, वह एक ही बरसाती सीजन में तबाह हो जायेगा। भाजयुमो जिलाध्यक्ष सुरेन्द्र रावत, महामंत्री विकास डिमरी, उपाध्यक्ष दीपक सिलोड़ी ने कहा कि जिला मुख्यालय पर चल रहे घाटों के निर्माण में घोर लापरवाही बरती जा रही है। इन कार्यों में गुणवत्ता का कोई भी ध्यान नहीं रखा जा रहा है। जहां घाटों की ज्यादा आवश्यकता है, वहां पर कार्य नहीं किया जा रहा है। जिससे जनता भी खासी परेशान है।

केन्द्र सरकार की योजना पर जब भाजपा नेता ही ऊंगलियां उठाने में लगे हैं तो विपक्ष भी पीछे नहीं है। विपक्ष की ओर से भी नमामि गंगे योजना के तहत किये जा रहे कार्यों को गलत बताया जा रहा है। कांग्रेस के जिला प्रवक्ता अशोक चौधरी का कहना है कि हरिद्वार व बनारस में पानी का बहाव नहीं है, जबकि हिमालय से निकलने वाली नदियों का बहाव तेजी से होता है और बरसात में पानी लोगों के घरों तक पहुंच जाता है। ऐसे में घाट नदी में समा जायेंगे और तीर्थयात्रियों को इसका लाभ नहीं मिलेगा और जो कार्य किया गया है वह भी तबाह हो जायेगा। ऐसे में यह धन का दुरूपयोग है। सिर्फ धन को ठिकाने लगाने का काम किया जा रहा है।

वहीं जिलाधिकारी मंगेश घिल्डियाल का कहना है कि नमामि गंगे योजना के तहत किये जा रहे कार्यों में शिकायत मिल रही है। उनका है कि यह योजना केन्द्र सरकार की महत्वकांक्षी योजना है, जिस पर गुणवत्ता पूर्वक कार्य किया जाना है। योजना पर मिल रही शिकायत के बाद योजना के अधिकारियों को बुलाया गया है और उनसे योजना की पूरी की जानकारी ली जायेगा। दोषी अधिकारियों और ठेकेदारों के विरूद्ध कार्रवाई भी की जायेगी।

केन्द्र सरकार की महत्वकांक्षी नमामि गंगे योजना शुरूआती दौर में ही सवालों के घेरे में आ गई है। योजना पर कार्य कर रही संस्थाएं अपनी मनमर्जी से कार्य कर रही है, जिससे जनता भी खासी परेशान है। योजना पर भाजपा के कार्यकर्ताओं ने सवाल खड़े किये हैं तो देखना होगा कि निर्माण कार्यों की जांच कब तक की जाती है या फिर बरसाती सीजन में घाटों के तबाह हो जाने के बाद प्रशासन जागेगा।

devbhoomimedia

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