- BJP राष्ट्रीय कार्यकारिणी …..
- हम देश बनाने में जुटे और विपक्ष को देश तोड़ने में जुटा : अमित शाह
- मोदी सरकार की उपलब्धियों पर लड़ेंगे 2019 का चुनाव
देवभूमि मीडिया ब्यूरो
नई दिल्ली : भाजपा अगले साल होने वाला लोकसभा चुनाव पार्टी अध्यक्ष अमित शाह के नेतृत्व में ही लड़ेगी। लोकसभा चुनाव, 2019 के मद्देनजर पार्टी ने अगले साल जनवरी में खत्म हो रहे उनके कार्यकाल को एक साल के लिए बढ़ा दिया है। पार्टी ने अगले एक साल तक हर तरह के संगठनात्मक चुनावों को भी टाल दिया है। शनिवार को शुरू हुई राष्ट्रीय कार्यकारिणी में एक प्रस्ताव के जरिये शाह का कार्यकाल बढ़ाने और संगठनात्मक चुनाव टालने पर सहमति बनी। वैसे भी भाजपा में चुनाव से पहले बड़े स्तर पर बदलाव नहीं होता। शाह के पहले भी कई नेताओं का कार्यकाल बढ़ाया गया है। शाह के नेतृत्व में पार्टी ने 19 राज्यों में जीत हासिल की है। ऐसे में उनका कार्यकाल बढ़ाने को लेकर कोई संदेह भी नहीं था।
भाजपा की दो दिवसीय राष्ट्रीय कार्यकारिणी के पहले दिन पार्टी अध्यक्ष अमित शाह ने विपक्षी दलों पर निशाना साधते हुए कहा कि हम देश बनाने में जुटे हैं और विपक्ष तोड़ने में जुटा हुआ है। वहीं अगले वर्ष होनेवाले लोकसभा चुनाव की तैयारियों के बीच भाजपा अध्यक्ष अमित शाह 2019 के चुनाव में पार्टी संगठन का नेतृत्व करेंगे जिनके तीन वर्ष का कार्यकाल जनवरी 2019 में समाप्त हो रहा है। भाजपा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी ने फिलहाल पार्टी ने संगठनात्मक चुनाव टाल दिए हैं।
शाह ने भाजपा की प्रगति और वर्तमान में अजेय की छवि बनाने का श्रेय पूर्व पीएम अटल बिहारी वाजपेयी के साथ वयोवृद्ध नेता लालकृष्ण आडवाणी को दिया है। उन्होंने कहा कि स्थापना के बाद महज दो सीटें जीतने वाली भाजपा अगर वर्तमान में 19 राज्यों और देश के 70 फीसदी भूभाग पर काबिज है तो इसका सारा श्रेय वाजपेयी और आडवाणी को जाता है। अटल-आडवाणी की सियासी जोड़ी के प्रयास से पार्टी पहली बार केंद्र की सत्ता पर काबिज हुई। इसके बाद पार्टी का काफिला बढ़ता चला गया। वाजपेयी की उपलब्धियों और व्यक्तित्व पर कहने के लिए शब्द नहीं हैं।
पूरी पार्टी चुनावी तैयारियों में व्यस्त है। दिसंबर में पांच राज्यों के और उसके बाद लोकसभा के चुनाव होने हैं। इसके चलते राष्ट्रीय व प्रदेश में कहीं भी संगठनात्मक चुनाव नहीं होगे। राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह का पहला कार्यकाल अगले साल जनवरी 2019 में पूरा हो रहा था, अब वे चुनाव होने तक अध्यक्ष बने रहेंगे। हालांकि उसके बाद भी उनको दूसरा कार्यकाल मिल सकता है। भाजपा संविधान के मुताबिक कोई भी नेता तीन-तीन साल के दो कार्यकाल तक अध्यक्ष रह सकता है। प्रदेशों में भी मौजूदा अध्यक्ष लोकसभा चुनावों तक बने रहेंगे। चुनाव वाले साल में भाजपा में हमेशा संगठन चुनाव टाले जाते रहे हैं। दो बार तो लालकृष्ण आडवाणी के अध्यक्ष रहते चुनाव टाले गए थे।
- शाह ने पार्टी के प्रदेश अध्यक्षों से हासिल की जानकारी
मिशन- 2019 के लिए चाक-चौबंद रणनीति बनाने में जुटे भाजपा अध्यक्ष अमित शाह एक भी कमजोर कड़ी नहीं छोड़ना चाहते हैं। राष्ट्रीय पदाधिकारियों की बैठक में शाह ने हर राज्य के अध्यक्ष से लगभग दो दर्जन बिंदुओं पर विस्तृत जानकारी हासिल की। शाह ने साफ किया कि सभी कार्यकर्ता सात माह तक सब कुछ भूलकर कमल व भारत माता के लिए काम करें।
- संकल्प ही विजय का
उन्होंने कहा हमारा रास्ता ‘अजेय भाजपा’ हमारा संकल्प है। बैठक के पहले राष्ट्रीय पदाधिकारियों के साथ लगभग तीन घंटे के मंथन में भाजपा अध्यक्ष मे सभी प्रदेश अध्यक्षों से चुनावी तैयारियों से बात की। बूथ प्रबंधन, केंद्रीय योजनाओं के कार्यान्वयन, प्रचार-प्रसार, समेत कई मु्द्दों पर हर प्रदेश अध्यक्ष से सवाल पूछे।
- कार्यकर्त्ता के लिए एक-एक दिन कीमती
शाह ने कहा कि भाजपा के कार्यकर्ता के लिए आने वाला एक एक दिन कीमती है। उसे कमल व भारत माता पर खुद को केंद्रित करना है। कमल यानी भाजपा का चुनाव चिन्ह। उम्मीदवार कौन है, वह अहम नहीं है, वोट कमल पर ही आना चाहिए। इसके साथ ही भारत माता की जय यानी प्रखर राष्ट्रवाद। इससे भी कोई समझौता नहीं है।
- हमारी सफलता यह कि दुनिया में सबसे लोकप्रिय नेता मोदी भाजपा के पास
शाह ने साफ किया कि लोकसभा से पहले होने वाले हर विधानसभा चुनाव को जीतना है। भाजपा कार्यकर्ताओं के लिए सबसे बड़ी लाभ की स्थिति यह है कि उनके पास नरेंद्र मोदी जैसा नेता है। जो दुनिया के सर्वाधिक लोकप्रिय नेता है। भाजपा जैसी संगठन शक्ति भी किसी के पास नहीं है। कार्यकर्ताओं को बस जनता के पास तथ्यों व आंकड़ों के साथ जाना है, जिससे विपक्ष के झूठ का पर्दाफाश होगा, वहीं सरकार व भाजपा के सत्य को लोग जान सकेंगे।
- स्व.वाजपेयी पर राष्ट्रीय कार्यकारिणी में शोक प्रस्ताव
भारतीय जनता पार्टी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में शनिवार को पूर्व प्रधानमंत्री एवं पार्टी के संस्थापक अध्यक्ष अटल बिहारी वाजपेयी को श्रद्धांजलि दी। पार्टी ने संकल्प व्यक्त किया कि वह उनके दिखाए मार्ग पर सतत चलती रहेगी तथा देश में सुशासन और विकास की राजनीति को मजबूती के साथ आगे बढ़ाएगी।