गोंडा: महिला पहलवानों के यौन शोषण का मामला लगातार सुर्खियां बटौर रहा है. बीते कल भी पहलवानों के ड्यूटी ज्वाइन करने के बाद आंदोलन खत्म करने की खबरें सामने आई थी. हालांकि, बाद में इन पहलवानों ने खबरों का खंडन किया और कहा कि आंदोलन खत्म नहीं हुआ है.
अब महिला पहलवानों के यौन शोषण मामले की जांच कर रही दिल्ली पुलिस की एसआईटी रविवार रात को भारतीय कुश्ती संघ के अध्यक्ष और भाजपा सांसद बृजभूषण शरण के पैतृक निवास विश्नोहरपुर पहुंची और 12 लोगों के बयान दर्ज किए हैं. इनमें सांसद के करीबी, परिजन, सहयोगी और सुरक्षाकर्मी शामिल हैं. एसआईटी ने पूर्व में 125 गवाहों के बयान रिकॉर्ड किये थे. अब यह संख्या 137 पहुंच गई है. जांच टीम ने गोंडा से कुछ लोगों के नाम-पते, मोबाइल नंबर के अलावा पहचान पत्र भी साक्ष्य के तौर पर जुटाए हैं.
एसआईटी पहले भी गोंडा में लोगों के बयान रिकॉर्ड कर चुकी है. वह देश के साथ विदेश में भी कुश्ती प्रतियोगिता के दौरान सांसद पर लगे आरोपों की जांच कर रही है. महिला पहलवानों की मांग के बावजूद अब तक आरोपी बृजभूषण की गिरफ्तारी नहीं हुई है.
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मंगलवार को साक्षी मलिक जब रेलवे की नौकरी पर दोबारा लौटी तो खबरों का बाजार गर्म हो गया कि वह आंदोलन से पीछे हट गई हैं और उन्होंने नौकरी ज्वाइन कर ली है. इसी तरह का मामला बजरंग पुनिया के साथ आया. लेकिन उन्होंने भी खबरों का खंडन किया. साक्षी मलिक और बजरंग पुनिया ने कहा कि वह नौकरी ज्वाइन करने जरूर आए हैं. लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि उनका आंदोलन खत्म हो गया है. बृजभूषण के खिलाफ उनकी लड़ाई जारी है.