UTTARAKHAND

समस्याओं के समाधान भी बताएं, लोगों की शिकायतों पर होगा विचार : डॉ. रवि

सभी स्थानों पर शिकायतें लगभग एक जैसी

रमेश पहाड़ी

रुद्रप्रयाग। चारधाम परियोजना में व्याप्त अनियमितताओं की शिकायतों की जाँच के लिए उच्च न्यायालय द्वारा गठित उच्च अधिकार प्राप्त समिति ने विश्वास दिलाया है कि उनकी शिकायतों का भी जाँच समिति संज्ञान लेगी और अपनी रिपोर्ट में उन्हें शामिल करेगी।

रुद्रप्रयाग व चमोली जिलों में राष्ट्रीय राजमार्ग 58 और 109 के कार्यों का स्थलीय निरीक्षण कर समिति के अध्यक्ष डॉ. रवि चोपड़ा ने माना कि सभी स्थानों पर शिकायतें लगभग एक जैसी हैं। वापसी में रुद्रप्रयाग में चारधाम परियोजना संघर्ष समिति तथा जन अधिकार मंच रुद्रप्रयाग के प्रतिनिधियों से वार्ता करते हुए उन्होंने बताया कि लोगों की शिकायतों पर जाँच समिति पूरी गम्भीरता से विचार करेगी और आवश्यकता पड़ने पर फिर से कुछ क्षेत्रों में जाएगी। यदि जरूरी है तो कुछ शिकायतकर्ताओं को अपने पास बुला भी सकती है। उन्होंने कहा कि समस्याओं और शिकायतों के साथ ही सम्बंधित लोग सुझाव भी दें ताकि उन पर भी विचार कर संस्तुतियां दी जा सकें।

प्रतिनिधि-मंडल ने बताया कि राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण द्वारा सड़क के लिए कहीं 10 मीटर तो कहीं 12 मीटर चौड़ी भूमि ली जा रही है, जबकि तिलवाड़ा में 24 मीटर चौड़ाई में भूमि ली जा रही है। इस मनमानी से बड़ी संख्या में लोग प्रभावित हो रहे हैं। समिति को प्रस्तुत ज्ञापन में माँग की गई कि सड़क चौड़ीकरण के लिए जो भूमि व भवन लिए जा रहे हैं, उनकी प्रतिपूर्ति सही ढंग से हो और राज्य सरकार सरकारी जमीनों पर बने मकानों के लिए अन्यत्र अचल संपत्ति न होने का शपथ-पत्र न ले। मार्गों के चौड़ीकरण से क्षतिग्रस्त होने वाले मार्गों व अन्य नागरिक सुविधाओं की बहाली समयबद्ध ढंग से करने, बदरीनाथ सड़क के लिए सुरंग बनाकर उसी से यातायात चलाने और रुद्रप्रयाग बाजार को यथावत रहने देने, सड़क में कटने वाले मकानों के मालिकों का अन्यत्र पुनर्वास करने, राजमार्ग से सटी निजी भूमि पर् निर्माण हेतु अनुमति की बाध्यता को समाप्त करने, प्रभावित व्यवसायों के पुनर्स्थापन के लिए मार्केटिंग कॉम्प्लेक्स बनाकर देने, खांकरा, तिलवाड़ा, गुप्तकाशी बाजारों को वीरान होने से बचाने आदि का निवेदन किया गया।

समिति में अध्यक्ष डॉ. रवि चोपड़ा के साथ ही डॉ. डी वी सिंह, डॉ. जे सी कुनियाल, डॉ. एस सत्यकुमार, अनिल शुक्ला, डॉ. एस सी कुटियार, आशीष कुमार पांडा, आर एस राव, मोनीष मुल्लिक़, डॉ. हेमन्त ध्यानी तथा समिति के सदस्य सचिव जी एस पाण्डे और नोडल अफसर अक्षय कुमार शामिल थे।

जिलाधिकारी मंगेश घिल्डियाल ने समिति को बताया कि विभिन्न संगठनों और प्रभावितों द्वारा समय-समय पर उन्हें जो शिकायतें व पत्र दिए गए तथा अपनी समस्याएं बताईं गईं, उन्हें शासन को संदर्भित किया गया। खांकरा को बाईपास करने की योजना के विरोध में लोगों की माँग पर 2 जाँच समितियां गठित कीं गईं, जिनकी रिपोर्ट जल्दी ही प्राप्त होगी। उस पर ग्रामीणों के साथ चर्चा की जाएगी।

devbhoomimedia

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