सूबे के 101 पीसीएस अधिकारियों ने नहीं दिया अपनी सम्पत्तियों की सूचना !

- केवल 30 पीसीएस अधिकारी ही दे पाए अपनी सम्पत्ति का विवरण
देवभूमि मीडिया ब्यूरो
देहरादून : उत्तराखंड सरकार के पारदर्शिता तथा जीरो टोलरेंस के दावों को सरकार में शामिल अधिकारी ही पलीता लगा रहे हैं। सरकार अपने इन मातहत अधिकारियों से कोई नयी पहल करना तो दूर पारदर्शिता व भ्रष्टाचार नियंत्रण के लिये पहले से लागू नियमों का ही सरकार पालन नहीं करा पा रही है। इसका एक प्रमाण प्रदेश के अधिकतर पीसीएस अधिकारियों द्वारा अपना वार्षिक सम्पत्ति विवरण न देने के रूप में सूचना अधिकार से सामने आया है।
काशीपुर निवासी सूचना अधिकार कार्यकर्ता नदीम उद्दीन ने उत्तराखंड शासन के कार्मिक विभाग से अधिकारियों के सम्पत्ति विवरण सम्बन्धी सूचना मांगी थी। पहले तो सूचना देने में अनाकानी की गयी। प्रथम अपील अधिकारी द्वारा आदेश करने पर लोक सूचना अधिकारी/अनुसचिव हेमा पाण्डे द्वारा अपने पत्रांक संख्या 11 दिनांक 28-03-2018 से सूचना उपलब्ध करायी गयी। उसमें प्रदेश के अधिकतर पी.सी.एस. अधिकारियों द्वारा वार्षिक सम्पत्ति विवरण न देने का चैंकाने वाला खुलासा हुआ है। सम्पत्ति विवरण न देने वालों में एन0एच0 घोटाले में कार्यवाही वाले पी0सी0एस0 अधिकारियों के नाम भी शामिल है।
श्री नदीम को उपलब्ध सूचना के अनुसार प्रदेश के 101 पी0सी0एस0 अधिकारियों ने 28 मार्च 2018 तक अपना सम्पत्ति विवरण नहीं दिया है जबकि केवल 30 पी0सी0एस0 अधिकारियों ने ही अपना सम्पत्ति विवरण दिया है। श्री नदीम ने 01 जनवरी 2017 से सूचना उपलब्ध कराने की तिथि तक सम्पत्ति विवरण देने व न देने वाले अधिकारियों की सूची मांगी थी।
श्री नदीम को उपलब्ध करायी गयी अद्यतन सम्पत्ति विवरण न देने वाले अधिकारियों की सूची में 101 अधिकारियों के नाम शामिल है। इसमें एन0एच0 घोटाले के समय सम्बन्धित जिलों में तैनात रहे व कार्यवाही वाले पी0सी0एस0 अधिकारियों के नाम भी शामिल है। सम्पत्ति विवरण शासन को उपलब्ध कराने वाले अधिकारियों में केवल 30 पी0सी0एस0 अधिकारियों में श्री विप्रा त्रिवेदी, श्रीमति निर्मला बिष्ट, श्रीमति रिंकू बिष्ट, गोपाल राम, राकेश चन्द्र तिवारी, अवद्येश कुमार सिंह, गिरीश चन्द्र गुणवन्त, श्रीमति मीनाक्षी पटवाल, रज्जा अब्बास, चन्द्र सिंह धर्मशक्तू, विवेक प्रकाश, कृष्ण नाथ गोस्वामी, अशोक कुमार पाण्डे, प्रवेश चन्द्र डंडरियाल, आलोक कुमार पाण्डे, हर गिरी, सुन्दर लाल सेमवाल, ललित नारायण मिश्र, उत्तम सिंह चौहान, विवेक राय, जगदीश चन्द्र काण्डपाल, युक्ता मिश्र, दयानन्द सरस्वती, गोपाल सिंह, विनोद कुमार, अभिषेक त्रिपाठी, हेमन्त कुमार वर्मा, गौरव चटवाल, संगीता कनौजिया व हरवीर सिंह के नाम शामिल है।
जबकि उपलब्ध सूची के अनुसार जिन पी0सी0एस0 अधिकारियों ने 28 मार्च 2018 तक सम्पत्ति विवरण शासन को नहीं उपलब्ध कराया है उनमें हरक सिंह रावत, रवनीता चीमा, रामजीशरण शर्मा, किशन सिंह नेगी, माया दत्त जोशी, सोहन सिंह, कमलेश मेहता, विनोद गिरी गोस्वामी, इला गिरी, जगदीश लाल, स्मृता परमार, योगेन्द्र सिंह, चन्दन सिंह डोभाल, अनिल कुमार, परमानन्द राम, तीर्थपाल सिंह, देव मूर्ति यादव, मुक्ता मिश्रा, देवानन्द, प्यारे लाल शाह, सौरभ असवाल, शैलेन्द्र सिंह, अनुराग आर्य, देवेन्द्र सिंह नेगी, आशीष भटगाई, शिव कुमार बरनवाल, श्रीमति नपुर, लक्ष्मीराज चैहान, चतर सिंह, गिरधारी सिंह रावत, वीर सिंह, चन्द्र सिंह मर्ताेलिया, अरविन्द कुमार पाण्डे, सीमा विश्वकर्मा, कुशुम, भगत सिंह, जितेन्द्र कुमार, बृजेश कुमार तिवारी, हंसा दत्ता पाण्डेय, प्रकाश चन्द्र दुम्का, झरना कमठान, बंशी लाल राणा, मोहन सिंह, मनमोहन सिंह रावत, जीवन सिंह नगन्याल, सोनिया पंत, निधि यादव, शालिनी नेगी, अर्चना गहरवार, प्रशांत कुमार आर्य, एन0एस0डांगी, नरेन्द्र सिंह क्वीरियाल, नवनीत पाण्डे, उदय सिंह राणा, भागवत किशोर मिश्रा, दीपेन्द्र सिंह नेगी, मनीष कुमार, कोस्तुभ मिश्र, वंशीधर तिवारी, प्रताप सिंह शाह, नरेन्द्र चन्द्र दुर्गापाल, पूरन सिंह, प्रत्यूष सिंह, नारायण सिंह नवियाल, तुलसी राम, मेहरावान सिंह बिष्ट, आशीष भटगाई, कृष्ण कुमार सिंह, विजय नाथ शुक्ला, चन्द्र सिंह इमलाल, कृष्ण कुमार मिश्र, दीप्ती सिंह, जय भरत सिंह, बी0एस0चलाल, हरीश चन्द्र काण्डपाल, प्रकाश चन्द्र, राजकुमार पाण्डे, बी0एस0फिरमाल, शिवचरण द्विवेदी, त्रिलोक सिंह, आनन्द श्रीवास्तव, कैलाश सिंह टोलिया, फिंचाराम, रिचा सिंह, राहुल कुमार गोयाल, सुरेन्द्र सिंह जंगपांगी, नन्दन सिंह नगन्याल, रविन्द्र सिंह, रमेश चन्द्र गौतम, सोहन सिंह सैनी, अनिल कुमार चान्याल, आनन्द श्रीवास्तव, संजय कुमार, नारायण सिंह नबियाल, सुन्दर सिंह, प्रेम लाल, दिनेश प्रताप सिंह, अनिल गर्बयाल, मौ0 नासिर, सतोष कुमार पाण्डे व वैभव गुप्ता के नाम शामिल है।