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कॉर्बेट टाइगर रिजर्व कोटद्वार क्षेत्र के अन्तर्गत होगा सफारी वाहनों का संचालन 

-सर्किट विकास के सिद्धांत पर विकास की बनाई गई है योजना : डॉ. हरक सिंह

देहरादून । वनमंत्री डा. हरक सिंह रावत ने कहा कि अब  कोटद्वार की तरफ से भी वन्य जीव प्रेमी और पर्यटक कार्बेट नेशनल पार्क में प्रवेश कर सकेंगे। यहां के पातरों और रथवाढाल में दो नए गेट 27 नवंबर से पर्यटकों के लिए खोल दिए जाएंगे।टाइगर रिजर्व कोटद्वार क्षेत्र के अन्तर्गत सफारी वाहनों का संचालन किया जाएगा। कोटद्वार से कार्बेट टाइगर रिजर्व के सोना नदी वन्य जीव विहार व बफर क्षेत्र के अन्तर्गत सफारी वाहनों को मुख्यमंत्री द्वारा हरी झंडी दिखाकर रवाना किया जायेगा। 

विधानसभा में आयोजित पत्रकार वार्ता में वन मंत्री ने कहा कि प्रदेश के पर्यटन के विकास के लिए इको टूरिज्म की स्थापना की गयी है। उन्होंने कहा कि प्रदेश का लगभग 70 प्रतिशत भू भाग वनों में होने के कारण पर्यटन के लिए अच्छा स्थान है। वन विश्राम भवनों की एक विशिष्ठ पहचान होने के कारण राज्य ईको टूरिज्म विकास निगम ने प्रथम चरण में सर्किट विकास के सिद्धांत पर आधारित पांच सर्किट के विकास की योजना बनाई है। इन पांच सर्किटों में लगभग 35 वन विश्राम भवन चिन्हित किए गए हैं। जिन्हें गन्तव्य स्थलों के रूप में विकसित कर इनको एक सुविकसित पर्यटन पैकेज के साथ जोड़ा जाएगा। इन गन्तव्य स्थलों के निकट स्थित गांवों का विकास और वहां रहने वाले लोगों की आय में वृद्धि के लिए इन सर्किट के विकास में अन्तर्निहित है। इन प्राचीन और प्राकृतिक रूप से अतिसुंदर वन विश्राम भवनों का सर्किट आधारित विकास कर इन्हें विशेष रामांचक पर्यटन के रूप में खोला जाएगा जो प्रदेश की आजीविका विकास में महत्वपूर्ण भूमि निभाते हुए प्रदेश के पर्वतीय क्षेत्रों से पलायन रोकने में कारगर साबित हांगे। ईको टूरिज्म विकास निगम के माध्यम से प्रकृति आधारित पर्यटन को लोकप्रिय बनाने की दिशा में यह आदर्श पहल होगी। 

उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र रावत 27 नवंबर को इस मार्ग का  उद्घाटन करेंगे। इससे दिल्ली से आने वाले पर्यटकों को रामनगर के मुकाबले यहां से कार्बेट जाने के लिए करीब 50 किलोमीटर कम दूरी तय करनी पड़ेगी। उन्होंने बताया कि दिल्ली से सीधे हवाई मार्ग से जौलीग्रांट आने का बेहतर विकल्प भी पर्यटकों को मिलेगा। करीब डेढ़ घंटे में वे जौलीग्रांट से कोटद्वार पहुंच सकेंगे। जबकि अब तक रामनगर के लिए पंतनगर हवाई अड्डे के रूप में ज्यादा सुविधाजनक विकल्प नहीं था। उन्होंने बताया कि इसके लिए कार्बेट की साइट पर ऑनलाइन बुकिंग शुरू हो गई है और सुबह शाम 10-10 चिप्सियां अभी इनमें चलाई जाएंगी।

वन मंत्री हरक सिंह ने बताया कि लालढ़ांग से चिल्लरखाल तक करीब 11 किलोमीटर लंबी कंडी रोड का भी 27 को मुख्यमंत्री शिलान्यास करेंगे। करीब पौने दस करोड़ रुपये से इस मार्ग का निर्माण किया जाएगा। इसके बनने से हरिद्वार से कोटद्वार नगर निगम की सीमा करीब 40 किलोमीटर कम हो जाएगी। इससे लोगों को काफी लाभ होगा।

पांच नए पर्यटक सर्किट  बनेंगे

देहरादून-ऋषिकेश सर्किट

थानो-चौरासीकुटी-संजय झील-रानीचौरी-धनोल्टी-देवलसारी

कोटद्वार सर्किट

रसियाबड़-चिड़ियापुर-लालढ़ाग- कण्वाश्रम-सेंधीखाल-सनेह- ताड़केश्वर- कोल्हूचौड़

रामनगर-नैनीताल सर्किट

सीताबनी-चूनाखाल-पवलगढ़-किलबरी-विनायक-सौनी-कौसानी

यमुना टोंस वैली सर्किट

झाझरा-तिमली-आसन बैराज-चकराता-कनासर-बुधेर-सान्द्रा- जरमोला-कैप्टी फॉल

नंधौर-चंपावत सर्किट

चोरगलिया-बूम-चंपावत-धूनाघाट-भिंगराड़ा- पहाड़पानी- महेशखान

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